गेंदा फूल की खेती
औरंगाबाद. बिहार का औरंगाबाद जिला अतिनक्सल प्रभावित क्षेत्र में शुमार होता है. खासकर नक्सल प्रभावित देव के किसान खेती के जरिए अब अपनी एक अलग पहचान बनाने में कामयाब हो रहे हैं. देव के युवा किसान बड़े पैमाने पर फूल की खेती करने लगे हैं. फूल की खेती से युवा किसान लाखों में कमाई भी कर रहे हैं. सिर्फ तीन महीने के फूल की खेती में किसान को लाखों की कमाई कर रहे हैं. एक बीघा से सालाना 10 क्विंटल तक फूल का उत्पादन कर रहे हैं.
एक बीघा में कर रहे हैं फूल की खेती
युवा किसान अखिलेश मालाकार ने लोकल 18 को बताया कि घर में पैसे की तंगी के कारण नौकरी करनी पड़ी. इसके कारण पढ़ाई भी प्रभावित हुआ, लेकिन तीन साल तक काम करने के बाद गांव के ही रिश्तेदार के कहने पर फूल की खेती करना शुरू कर दिया. इसके साथ ही कभी यूट्यूब का तो कभी गांव के ही किसान सलाहकार ब्रजकिशोर मेहता से इसके बारे में जानकारी हासिल की और एक बीघा में गेंदा, ग़ज़गबरी और चिड़िया फूल की खेती शुरू कर दी.
ग्रेड स्पाइडर माइटी नामक कीड़ा है खतरनाक
बता दें किसान द्वारा गेंदा, चिड़िया और ग़ज़गबरी फूल की खेती की जा रही है. जिसके उपज में लगभग 4 से 5 महीने का समय लगता है. किसान ने बताया कि इस फूल की खेती में कीड़ा लगने से नुकसान होता है. वहीं गेंदा के फूल में ग्रेड स्पाइडर माइटी नामक कीड़ा लगता है, जो फूल के रस को चूस जाता है. वहीं इससे बचाव के लिए किसान द्वारा निम का तेल, कई तरह की कीटनाशक दवा जो किसान सलाहकार द्वारा बताया जाता है, उसका इस्तेमाल किया जाता है.
लग्न में फूलों की बढ़ जाती है डिमांड
वहीं किसान ने बताया कि गेंदा फूल 100 रुपए प्रति किलो तक बिकता है. वहीं लग्न के दौरान इसका रेट बढ़कर 150 रुपए प्रति किलो तक पहुंच जाता है. वहीं गेंदा फूल की माला की बात करें तो वह 500 से 600 रुपए प्रति कुड़ी बिकता है.फूल के लिए पटना, रांची, छत्तीसगढ़, डाल्टनगंज तक से ऑर्डर आता है. युवा किसान अखिलेश मालाकार ने बताया कि फूल की खेती में 40 फीसदी तक मुनाफा होता है.
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FIRST PUBLISHED :
November 17, 2024, 09:38 IST