सोनभद्र: मनमाने ढंग से संचालित ई-रिक्शाओं पर प्रशासन शिकंजा कसने की तैयारी में है. अब बिना ड्राइविंग लाइसेंस और परिवहन विभाग में रजिस्ट्रेशन और फिटनेस प्रमाणपत्र के ई-रिक्शा चलाना संभव नहीं होगा. इस संदर्भ में यातायात माह के अंतर्गत परिवहन विभाग कार्यालय में स्पेशल कैंप का आयोजन किया जाएगा, जिसमें ई-रिक्शा चालकों को सभी जरूरी दस्तावेज पूरे करने के निर्देश दिए जाएंगे.
जिले में 1224 ई-रिक्शा और 71 ई-कार्ट पंजीकृत हैं. एआरटीओ प्रशासन धनवीर यादव के अनुसार, पंजीकरण और फिटनेस प्रमाणपत्र के बिना ई-रिक्शा जब्त किया जा सकता है. ड्राइविंग लाइसेंस भी अनिवार्य किया गया है. पंजीकरण के लिए एआरटीओ कार्यालय से रजिस्ट्रेशन नंबर लेना होगा, जिसे वाहन पर दर्ज करना जरूरी है. रजिस्ट्रेशन के बाद हर तीन साल में फिटनेस प्रमाणपत्र भी लेना होगा.
स्पेशल लाइसेंस व्यवस्था
मोटर वाहन निरीक्षक आलोक कुमार यादव ने बताया कि सरकार ने ई-रिक्शा और ई-कार्ट चालकों के लिए विशेष लाइसेंस व्यवस्था लागू की है. यह सुनिश्चित करेगा कि सभी चालक योग्य और लाइसेंस प्राप्त हों, जिससे यातायात व्यवस्था अधिक सुरक्षित और व्यवस्थित होगी.
महिलाओं और वरिष्ठ नागरिकों के लिए विशेष सुविधा
परिवहन कार्यालय में लाइसेंस, फिटनेस, और पंजीयन के लिए वरिष्ठ नागरिकों, महिलाओं, मान्यता प्राप्त पत्रकारों, सैनिकों और भूतपूर्व सैनिकों के लिए अलग सुविधा काउंटर बनाए गए हैं. एआरटीओ धनवीर यादव ने बताया कि पहले इन कार्यों के लिए सभी को एक ही काउंटर पर कतार में लगना पड़ता था. नई व्यवस्था से इन विशेष वर्गों को बिना कतार में खड़े अपने काम पूरे करने की सुविधा मिलेगी.
प्रशासनिक सुधार से लाभ
परिवहन आयुक्त चंद्र भूषण सिंह के निर्देश पर बनाए गए इन काउंटरों से लोगों का काम कम समय में पूरा होगा. अब बार-बार कार्यालय के चक्कर काटने और लंबे इंतजार की समस्या नहीं रहेगी. यह कदम ई-रिक्शा संचालन को सुचारू बनाने और नागरिकों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करने के उद्देश्य से उठाया गया है.
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FIRST PUBLISHED :
November 19, 2024, 16:18 IST