Last Updated:January 31, 2025, 16:58 IST
क्या किन्नर अखाड़े की पूरी कहानी. कैसे इसमें कोई शामिल होता है. किन परीक्षाओं से उसको गुजरना होता है. इस अखाड़े के साधु और साध्वियों का रोजाना का जीवन कैसा होता है. इस अखाड़े के पास कितनी संपत्ति है.
हाइलाइट्स
- किन्नर अखाड़े में शामिल होने के लिए कई तरह की परीक्षाओं से गुजरना होता है
- किन्नर साधुओं और साध्वियों का पहनावा सूती कपड़ा का होता है और भगवा रंग का
- किन्नर अखाड़े के पास कुल कितनी संपत्ति, इसे लेकर क्यों विवाद
ममता कुलकर्णी के किन्नर अखाड़े में शामिल होने और उसके बाद उन्हें इसे अखाड़े से बाहर कर दिए जाने के बाद ये अखाड़ा चर्चा में आ गया है. इसे लेकर कई सवाल पूछे जा रहे हैं कि इस अखाड़े में शामिल होने के लिए क्या करना होता है. कौन इसमें आ सकता है. इसके लिए कौन सी परीक्षाएं देनी होती हैं. रोजाना के जीवन में इस अखाड़े के साधु – साध्वी कैसा जीवन जीते हैं. वो किस तरह का कपड़ा पहनते हैं. क्या इस अखाड़े में भी नागा साधु होते हैं.
किन्नर अखाड़ा एक धार्मिक संगठन है जो ट्रांसजेंडर व्यक्तियों को आश्रय और सामाजिक समर्थन प्रदान करता है. ये जूना अखाड़े से जुड़ा हुआ है. इस अखाड़े में यूं ही शामिल नहीं हो सकते हैं बल्कि कुछ परीक्षाओं और प्रक्रियाओं से गुजरना पड़ता है.
किस तरह से इसमें शामिल हो सकते हैं
– सबसे पहले, आपको एक गुरु की तलाश करनी होगी जो आपको अखाड़े में शामिल होने के लिए मार्गदर्शन कर सके. गुरु अखाड़े के नियमों और परंपराओं के बारे में सिखाएगा.
– गुरु की स्वीकृति के बाद दीक्षा समारोह में भाग लेना होगा. इसके बाद पुराने जीवन को त्यागकर अखाड़े के सदस्य के रूप में एक नया जीवन शुरू करना होगा.
– दीक्षा के बाद कुछ परीक्षाओं से गुजरना होगा. इन परीक्षाओं में अखाड़े के नियमों, परंपराओं और धार्मिक ग्रंथों के बारे में जानकारी जाहिर करनी होगी.
– इस परीक्षा से गुजरने के बाद अखाड़े के प्रमुखों के साथ एक साक्षात्कार में भाग लेना होगा. ये बताना होगा कि अखाड़े में शामिल होने का उद्देश्य क्या है.
अखाड़े में शामिल होने के लिए ये होना जरूरी
– ट्रांसजेंडर होना
– गुरु की स्वीकृति
– मानसिक और शारीरिक रूप से स्वस्थ होना
– अखाड़े के नियमों और परंपराओं का पालन करने के लिए तैयार रहना
क्या होता है पहनावा
किन्नर अखाड़े में शामिल होने वाले लोगों को साधु या साध्वी दोनों कहा जा सकता है. यह उनकी व्यक्तिगत पसंद और गुरु द्वारा दी गई दीक्षा पर निर्भर करता है. कुछ किन्नर अखाड़े में शामिल होने के बाद पुरुषत्व को अपनाते हैं और साधु कहलाते हैं. वे भगवा वस्त्र धारण करते हैं. धार्मिक ग्रंथों का अध्ययन करते हैं.
कुछ किन्नर अखाड़े में शामिल होने के बाद स्त्रीत्व को अपनाते हैं. वो साध्वी कहलाती हैं. वे सफेद वस्त्र धारण करती हैं. धार्मिक गीतों का गायन करती हैं. हालांकि कुछ किन्नर ऐसे भी होते हैं जो न तो पुरुषत्व और न ही स्त्रीत्व को अपनाते हैं. वे अपने आप को एक अलग लिंग पहचान के रूप में देखते हैं. उसी के अनुसार वस्त्र पहनते हैं. उन्हें भी साधु या साध्वी कहा जा सकता है. कुछ किन्नर अपनी पसंद के अनुसार रंगीन वस्त्र भी पहन सकते हैं
किन्नर साधुओं और साध्वियों का रोज का जीवन कैसा होता है
किन्नर अखाड़े में शामिल होने वाले लोगों का साधारण, त्याग और समर्पण का जीवन होता है. उन्हें अपने पुराने जीवन को त्यागना होता है. वह अखाड़े के नियमों और परंपराओं का पालन करके नया जीवन शुरू करते हैं.
– उन्हें रोज सुबह उठकर स्नान करना होता है. इसके बाद भगवान की पूजा. धार्मिक ग्रंथों का पाठ.
– वे अखाड़े में होने वाले धार्मिक अनुष्ठानों में भाग लेते हैं, जैसे कि दीक्षा समारोह, पिंडदान और भंडारा.
– वे समय-समय पर विभिन्न तीर्थ स्थलों की यात्रा करते हैं.
– वो एक ही समय खाते हैं और खाना साधारण होता है
– वो सादा जीवन जीते हैं. भौतिक सुख-सुविधाओं से दूर रहते हैं
– ध्यान और योग करते हैं ताकि मन को शांत कर सकें और भगवान के प्रति भक्ति को बढ़ा सकें
वो कैसे रहते हैं
अखाड़े में वो साथ साथ रहते हैं. एक दूसरे की मदद करते हैं. वे दान करते हैं और लोगों को भोजन, वस्त्र और आश्रय प्रदान करते हैं.
गुरु की सेवा
अखाड़े के सदस्य अपने गुरु की सेवा करते हैं. उनका मार्गदर्शन लेते हैं.
क्या आभूषण भी पहनते हैं
किन्नर अखाड़े के सदस्य आमतौर पर कम आभूषण पहनते हैं. कुछ लोग रुद्राक्ष की माला और अन्य धार्मिक आभूषण पहनते हैं.
किन्नर अखाड़े में शामिल लोग कहां रहते हैं
– किन्नर अखाड़े के सदस्य अक्सर अखाड़ों में रहते हैं. अखाड़े एक प्रकार के मठ होते हैं जहां वे धार्मिक अध्ययन करते हैं, पूजा करते हैं. सामुदायिक जीवन जीते हैं.
– कुछ किन्नर अखाड़े के सदस्य मठों में रहते हैं. मठ भी अखाड़ों की तरह धार्मिक संस्थान होते हैं जहां वे धार्मिक गतिविधियों में भाग लेते हैं.
– कुछ किन्नर अखाड़े के सदस्य अपने घरों में रहते हैं. वे अपने परिवारों के साथ रहते हैं और अखाड़े की गतिविधियों में भाग लेते हैं.
– कुछ किन्नर अखाड़े के सदस्य सामुदायिक भवनों में रहते हैं. ये भवन अखाड़े द्वारा संचालित किए जाते हैं.
क्या किन्नर अखाड़ों में भी नागा साधु होते हैं
– हां नागा साधु किन्नर अखाड़े भी शामिल हैं. किन्नर अखाड़े में नागा साधु बनने के लिए, व्यक्ति को कुछ मानदंडों को पूरा करना होता है.
– ट्रांसजेंडर होना या किन्नर समुदाय में आस्था रखना
– गुरु की स्वीकृति प्राप्त करना
– मानसिक और शारीरिक रूप से स्वस्थ होना
– अखाड़े के नियमों और परंपराओं का पालन करने के लिए तैयार रहना
– सांसारिक जीवन को त्यागने और भगवान की भक्ति में लीन होने के लिए तैयार रहना
नागा साधु किन्नर अखाड़े का एक महत्वपूर्ण हिस्सा हैं.
किन्नर अखाड़े का मुख्यालय कहां और कितनी संपत्ति
किन्नर अखाड़े का कोई आधिकारिक मुख्यालय नहीं है. विभिन्न शहरों में इनके आश्रम और डेरे हैं. किन्नर अखाड़े की चल और अचल संपत्ति के बारे में कोई आधिकारिक जानकारी उपलब्ध नहीं है. ये माना जाता है कि अखाड़े के पास काफी संपत्ति है, जो दान और चढ़ावे के माध्यम से प्राप्त होती है. कुछ खबरों के अनुसार, अखाड़े की संपत्ति को लेकर विवाद भी सामने आए हैं. इन विवादों में अखाड़े के कुछ सदस्यों ने संपत्ति के दुरुपयोग के आरोप लगाए हैं. हालांकि, इन आरोपों की पुष्टि नहीं हो पाई है.
Location :
Noida,Gautam Buddha Nagar,Uttar Pradesh
First Published :
January 31, 2025, 16:58 IST