चंडीगढ़ः पंजाब के किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल को आमरण अनशन से पहले ही कथित तौर पर मंगलवार को खनौरी बॉर्डर से जबरन हटा दिया गया और जांच के लिए लुधियाना अस्पताल ले जाया गया। किसानों ने दावा किया कि 70 वर्षीय डल्लेवाल को पुलिस ऐसे ले गई जैसे वह कोई गैंगस्टर या आतंकवादी हो।
डल्लेवाल ने किया था अनशन का ऐलान
पंजाब पुलिस की यह कार्रवाई डल्लेवाल द्वारा फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी की मांग को लेकर मंगलवार को आमरण अनशन शुरू करने के आह्वान के बाद आई है। उन्होंने यह भी कहा था कि वह किसानों की मांगें मनवाने के लिए अपनी जान भी देने को तैयार हैं।
सरवन सिंह पंधेर पुलिस पर भड़के
किसान मजदूर मोर्चा के नेता सरवन सिंह पंधेर ने आरोप लगाया कि डल्लेवाल को पुलिस ने मंगलवार तड़के खनौरी बॉर्डर से जबरन उठा लिया क्योंकि उन्होंने पुलिस कार्रवाई के लिए भगवंत मान सरकार की आलोचना की थी। इस बीच किसानों ने अपने कार्यक्रम को आगे बढ़ाते हुए कहा कि डल्लेवाल की जगह किसान नेता सुखजीत सिंह हरदोझंडे आमरण अनशन पर बैठेंगे। इसे निर्णायक लड़ाई बताते हुए उन्होंने केंद्र से उनके मुद्दों को हल करने के लिए अगले 10 दिनों में उनके साथ बातचीत फिर से शुरू करने को कहा।
खनौरी सीमा पर मीडिया को संबोधित करते हुए पंधेर ने पंजाब पुलिस की कार्रवाई के लिए मान पर निशाना साधा और कहा कि यह वही मुख्यमंत्री हैं जो दावा करते थे कि वह किसानों के साथ हैं और उनके वकील के रूप में केंद्र से लड़ रहे हैं। उन्होंने मुख्यमंत्री से पूछा कि पंजाब सरकार ने ऐसा निर्णय क्यों लिया। उन्होंने डल्लेवाल का जिक्र करते हुए कहा कि हमारे मुद्दे केंद्र सरकार से संबंधित हैं। पंजाब सरकार ने ऐसा फैसला क्यों लिया? हमारे बुजुर्ग और वरिष्ठ किसान नेता के साथ दुर्व्यवहार करने के बाद उन्हें ले जाया गया।
पुलिस ने दी ये जानकारी
पंजाब पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि डल्लेवाल को लुधियाना के निजी दयानंद मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल (डीएमसी) ले जाया गया। पुलिस उप महानिरीक्षक मनदीप सिंह सिद्धू ने कहा कि प्रशासन आमरण अनशन के आह्वान के मद्देनजर डल्लेवाल की उम्र और स्वास्थ्य को लेकर चिंतित है। सिद्धू ने कहा कि उनके स्वास्थ्य और उनकी उम्र को देखते हुए प्रशासन ने फैसला किया है कि उनकी उचित चिकित्सकीय जांच जरूरी है। हम लुधियाना के डीएमसी में उनकी चिकित्सकीय जांच करा रहे हैं।
इनपुट- भाषा