Last Updated:January 23, 2025, 22:35 IST
डोनाल्ड ट्रंप ने अमेरिका में जन्म के साथ मिलने वाली नागरिकता के प्रावधान को खत्म करने का आदेश जारी किया है. इसे लेकर अब दावा किया जा रहा है कि ट्रंप के इस आदेश के बाद उपराष्ट्रपति जेडी वैंस की भारतीय मूल की पत्...और पढ़ें
वाशिंगटन. अमेरिका में रह रहे दूसरे देश के लोगों के बीच इन दिनों खासा डर का माहौल है. इस डर की वजह अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का एक आदेश है, जो उन्होंने अपने अपने दूसरे कार्यकाल की शुरुआत में ही जारी किया है. इस आदेश के मुताबिक, किसी गैर-अमेरिकी माता-पिता के बच्चों को जन्म के साथ अपने आप मिलने वाली अमेरिकी नागरिकता के प्रावधान को खत्म कर दिया गया है. इसका मतलब हुआ विदेशी पासपोर्ट धारकों के बच्चों को अब अमेरिकी नागरिक नहीं माना जाएगा. इसमें वे लोग भी शामिल हैं, जो देश में कानूनी रूप से रह रहे हैं, जैसे टूरिस्ट, स्टूडेंट और वर्क वीजा पर रहने वाले लोग.
डोनाल्ड ट्रंप ने इस फैसले के बाद सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर कई दावे वायरल हो रहे हैं. इन्हीं में से एक में कहा गया कि उपराष्ट्रपति जेडी वैंस की भारतीय मूल की पत्नी उषा वेंस की अमेरिकी नागरिकता रद्द हो सकती है.
वायरल पोस्ट में क्या है दावा?
इस वायरल पोस्ट में दावा किया गया कि राष्ट्रपति ट्रंप के इस फैसले के तहत उपराष्ट्रपति जेडी वेंस की पत्नी उषा वेंस, जो भारतीय मूल की हैं, अब अपनी अमेरिकी नागरिकता खो सकती हैं.
हालांकि, इन दावों का कोई आधार नहीं है. कानूनी विशेषज्ञों और अमेरिकी प्रशासन से जुड़े अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि यह आदेश 20 फरवरी से लागू होगा. ऐसे में यह केवल इस तारीख के बाद जन्म लेने वाले बच्चों पर लागू हो सकता है. इससे पहले जन्में लोगों पर इसका कोई असर नहीं होगा.
क्या कहता है अमेरिकी संविधान?
अमेरिकी संविधान का 14वां संशोधन यह स्पष्ट करता है कि अमेरिका में जन्म लेने वाला हर व्यक्ति स्वाभाविक रूप से अमेरिकी नागरिक होता है. राष्ट्रपति ट्रंप का आदेश इस संशोधन की व्याख्या को चुनौती देने का एक प्रयास हो सकता है, लेकिन इसे लागू करने के लिए अदालत की मंजूरी आवश्यक होगी.
उषा वेंस पर क्यों हो रहा है चर्चा?
उषा वेंस अमेरिकी नागरिक हैं और उनकी नागरिकता पर इस आदेश का कोई प्रभाव नहीं पड़ता. सोशल मीडिया पर फैले दावे पूरी तरह से भ्रामक हैं. राष्ट्रपति ट्रंप का आदेश न तो मौजूदा नागरिकों पर लागू होता है और न ही यह आदेश पूर्व में दी गई नागरिकता को रद्द करता है.
एक्सपर्ट्स ने अपील की है कि सोशल मीडिया पर फैलाई जा रही ऐसी अफवाहों पर विश्वास न करें. नागरिकता के मसले पर कोई भी बदलाव लागू होने के लिए लंबी कानूनी प्रक्रिया से गुजरना होगा.
First Published :
January 23, 2025, 22:35 IST