Agency:News18 Uttar Pradesh
Last Updated:February 10, 2025, 07:19 IST
Sugarcane Farming: गन्ने की सिंचाई के लिए अगर ड्रिप विधि का उपयोग किया जाए. तो किसानों को काफी फायदा होगा. इस तरीके से खेती करने पर जहां एक तरफ किसान 50% तक जल की खपत को बचा सकते हैं, वहीं फसल में भी 30 से 35%...और पढ़ें
ड्रिप विधि सांकेतिक फोटो
हाइलाइट्स
- ड्रिप विधि से गन्ने की फसल में 35% तक इजाफा होगा.
- ड्रिप विधि से 50% तक जल की बचत संभव.
- सरकार 80-90% तक अनुदान दे रही है.
विशाल भटनागर/ मेरठ : पश्चिमी उत्तर प्रदेश से संबंधित जो भी किसान गन्ने की खेती कर रहे हैं. लेकिन वह सिंचाई को लेकर काफी चिंतित रहते हैं. तो ऐसे सभी किसान अगर ड्रिप विधि के माध्यम से खेती करने लगे तो खेतों में पर्याप्त मात्रा में सिंचाई हो पाएगी. वहीं, जल संचय होने के साथ ही अच्छी फसल भी उगेगी. इस तरीके से खेती करने पर जहां एक तरफ किसान 50% तक जल की खपत को बचा सकते हैं, वहीं फसल में भी 30 से 35% तक का इजाफा देखने को मिलेगा.
गन्ना किसानों के लिए फायदेमंद है ड्रिप विधि
लोकल-18 से खास बातचीत करते हुए मेरठ जिला गन्ना अधिकारी बृजेश कुमार पटेल ने बताया कि गन्ना किसानों के लिए ड्रिप विधि काफी लाभदायक है. क्योंकि इससे सिंचाई पाइपों के माध्यम से खेतों में की जाती है. इसके माध्यम से फसल की जड़ तक आसानी से जल पहुंच जाता है. उन्होंने कहा कि इसके सुखद परिणाम का अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है. जहां एक तरफ किसान 50% तक जल की खपत को बचा सकते हैं. वहीं उनकी जो फसल है उसमें भी 30 से 35% तक की वृद्धि देखने को मिलेगी.
सरकार भी दे रही है विशेष अनुदान
जिला गन्ना अधिकारी बृजेश कुमार पटेल के अनुसार जो भी किसान ड्रिप विधि के माध्यम से खेती करना चाहते हैं. ऐसे सभी किसानों को शासन द्वारा भी विशेष तौर पर अनुदान उपलब्ध कराया जा रहा है. उन्होंने कहा सरकार 80 से 90% तक ड्रिप विधि लगाने के लिए अनुदान भी उपलब्ध कराएगी. ऐसे में किसान 10 से 20% खर्च के माध्यम से ही अपने खेतों में बेहतर सिंचाई का माध्यम तैयार कर सकते हैं. उन्होंने बताया कि इसकी देखरेख सहित अन्य प्रकार की सुविधा भी संबंधित कंपनी द्वारा किसानों को उपलब्ध कराई जाती है. जिससे कि उन्हें किसी भी प्रकार की दिक्कत न हो.
इसलिए महत्वपूर्ण है ड्रिप विधि
बताते चलें कि जब मरीज किसी गंभीर बीमारी से ग्रस्त हो जाता है, तो उसे ग्लूकोज चढ़ाने के लिए ड्रिप का ही उपयोग किया जाता है. जिसमें विभिन्न प्रकार की दवाइयां भी मिलाई जाती हैं. जिससे कि मरीज जल्दी स्वस्थ हो जाए. इसी तरह से फसल को भी स्वस्थ रखने के लिए और बेहतर सिंचाई के लिए अब ड्रिप विधि का उपयोग किया जा रहा है. ऐसे में जो भी किसान अपने खेतों में ड्रिप विधि लगाना चाहते हैं. वह सभी करना विभाग से संपर्क कर सकते हैं.
Location :
Meerut,Meerut,Uttar Pradesh
First Published :
February 10, 2025, 07:19 IST
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