छत्तीसगढ़ के बस्तर के जंगलों में छुपा है दुर्लभ जड़ी बूटियों का खजाना

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Ayurvedic Remedy: बस्तर का जंगल है दुर्लभ जड़ी-बूटियों का खजाना, थायराइड जैसी बीमारी का संभव है इलाज, वायरल इन्फेक्शन में भी कारगर

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Ayurvedic Remedy: बस्तर का जंगल है दुर्लभ जड़ी-बूटियों का खजाना, थायराइड जैसी बीमारी का संभव है इलाज, वायरल इन्फेक्शन में भी कारगर

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बस्तर

बस्तर का जंगल

  रायपुर . भागदौड़ भरी इस जिंदगी में बार-बार थकान महसूस होना अब आम बात हो गई है. लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि लगातार थकान और बिना किसी वजह के वजन बढ़ना कहीं गंभीर बीमारी का संकेत तो नहीं? अगर आपका वजन तेजी से बढ़ रहा है और साथ ही आपको पहले के मुकाबले ज्यादा थकान महसूस हो रही है तो सावधान हो जाइए. ये थायराइड जैसी गंभीर समस्या के संकेत हो सकते हैं. थायराइड एक महत्वपूर्ण हार्मोनल ग्रंथि होती है और इसमें किसी भी प्रकार की समस्या से शरीर की कई   प्रक्रियाएं बुरी तरह प्रभावित होने लगती है.

दुर्लभ जड़ी-बूटियों का खजाना

छत्तीसगढ़ के बस्तर स्थित जंगलों में ऐसी दुर्लभ जड़ी-बूटियों का खजाना छिपा है जिनमें हर तरह के रोगों से लड़ने की प्रतिरोधक क्षमता पाई जाती है. बस्तर की जड़ी-बूटियों की मांग देश-विदेश तक है. यहां के वैद्य जंगलों में घूमकर जड़ी-बूटी तलाशते हैं. अब उनके पास वर्षों की मेहनत से औषधीय बीजों का बड़ा संग्रह तैयार हो गया है.

जड़ी-बूटी से संभव है थायराइड का इलाज
वैद्य मानसिंग कावड़े का कहना है कि बस्तर में सफेद मूसली, काली मूसली, सतावर आदि रोग प्रतिरोधक क्षमता रखने वाली औषधियां मिलती है. इनका नियमित सेवन करने पर वायरल संक्रमण होता ही नहीं है. इसके अलावा थायराइड जैसी बीमारियों का इलाज भी जड़ी-बूटियों से संभव है. छत्तीसगढ़ के प्रमाणित वैद्य मानसिंग कावड़े ने Local18 को बताया कि वे ग्राम देवर्ती तहसील जिला कांकेर बस्तर के रहने वाले हैं. पेशे से पारंपरिक वैद्य का काम करते हैं. दादा परदादा से मिली जड़ी बूटी के काम को अब वे आगे बढ़ा रहे हैं.

भोजन में बरतें खास सावधानी 
थायराइड लिवर में इंफेक्शन होने की वजह से होता है. इसी वजह से फैटी लिवर होता है.उस अवस्था में हम जो खाना खाते हैं उसका पाचन सही तरीके से नहीं होता है और फैट के रूप में जमने लगता है. थायराइड ग्रंथि में आगे चलकर सिस्ट हो जाता है. कभी-कभी यह सिस्ट कैंसर में परिवर्तन हो जाता है. आयुर्वेद चिकित्सा पद्धति के दौरान मरीजों को परहेज की आवश्यकता बताई जाती है. चिकन, मांस, मटन ज्यादा तेल वाले खाने से बचना चाहिए. फल और हरे सब्जियों का सेवन करना चाहिए.

Tags: Eat healthy, Local18, Raipur news

FIRST PUBLISHED :

November 21, 2024, 18:17 IST

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