क्रूड ऑयल है राजा, 10 धातुओं का कुल बिजनेस भी कम, तभी तो अकड़ता है अमेरिका!

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हाइलाइट्स

2022 में क्रूड ऑयल का कुल मार्केट साइज 2.1 ट्रिलियन डॉलर का था. दुनिया की सबसे बड़ी धातुओं का धंधा कुल मिलाकर भी इससे कम है. अमेरिका कच्चे तेल का सबसे बड़ा उत्पादक है. भारत इसे इम्पोर्ट करता है.

Crude Oil vs Metals: जिस देश के पास कच्चा तेल (क्रूड ऑयल) है, वो ग्लोबल मार्केट का बादशाह माना जाता है. तेल का कारोबार इतना विशाल है कि दुनिया की 10 सबसे बड़ी धातुओं का कारोबार मिलाकर भी इसके बराबर नहीं पहुंच पाता. यही वजह है कि क्रूड ऑयल का सबसे बड़ा उत्पादक होने के कारण अमेरिका दुनिया में अपनी धाक जमाए हुए है. आइए जानते हैं कैसे क्रूड ऑयल, धातुओं के व्यापार से कहीं बड़ा है और इसकी प्रमुखता क्यों बढ़ती जा रही है.

क्रूड ऑयल का मार्केट साइज 2.1 ट्रिलियन डॉलर का है, जो इसे दुनिया के सबसे बड़े व्यापारों में से एक बनाता है. 2022 के आंकड़ों के अनुसार, यह व्यापार दुनिया की 10 सबसे बड़ी धातुओं के कुल मार्केट साइज से भी ज्यादा है. ये 10 धातुएं हैं- आयरन ओर, गोल्ड, कॉपर, एल्युमिनियम, निक्कल, जिंक, सिल्वर, मोलिब्डेनम, पैलेडियम और लेड. इन सभी का कुल मार्केट साइज मात्र 967 बिलियन डॉलर का है, जो क्रूड ऑयल के मुकाबले काफी कम है.

प्रमुख धातुओं का कुल मार्केट साइज
धातुओं की बात करें तो सबसे बड़ा व्यापार आयरन ओर का है. इसका मार्केट साइज 283 बिलियन डॉलर का है. गोल्ड का बाजार 196 बिलियन डॉलर, कॉपर 183 बिलियन डॉलर और एल्युमिनियम 153 बिलियन डॉलर पर खड़ा है. बाकी धातुएं जैसे निक्कल, जिंक, सिल्वर, मोलिब्डेनम, पैलेडियम और लेड का व्यापार इनसे भी कम है. यह आंकड़ा दर्शाता है कि क्रूड ऑयल का व्यापार इन सभी को एक तरफ खड़ा करने के बाद भी मात देता है.

Did you cognize that the marketplace for lipid is larger than that of the 10 biggest metals enactment together? In fact, it is 10 times larger than gold.

This fascinating illustration captures the continued value of lipid adjacent arsenic the satellite is successful an vigor transition.

Of course, portion investment… pic.twitter.com/vIN0RQiySW

— Anil Agarwal (@AnilAgarwal_Ved) September 26, 2024

अमेरिका का क्रूड ऑयल पर दबदबा
2023 में अमेरिका दुनिया का सबसे बड़ा क्रूड ऑयल उत्पादक बनकर उभरा, जो प्रति दिन 21.91 मिलियन बैरल क्रूड ऑयल का उत्पादन करता है. इसके बाद सऊदी अरब और रूस आते हैं, जो क्रमशः 11.13 मिलियन बैरल और 10.75 मिलियन बैरल प्रति दिन उत्पादन करते हैं. अमेरिका का इतना बड़ा उत्पादन उसे वैश्विक तेल व्यापार का प्रमुख खिलाड़ी बनाता है, जिससे उसकी आर्थिक और राजनीतिक ताकत और मजबूत होती है.

अन्य बड़े उत्पादक देश
अमेरिका के अलावा सऊदी अरब, रूस, कनाडा, चीन, इराक, UAE और ईरान भी प्रमुख क्रूड ऑयल उत्पादक देश हैं. लेकिन, इनमें से कोई भी अमेरिका के बराबर उत्पादन नहीं कर पाता. ये देश भी क्रूड ऑयल के माध्यम से अपनी अर्थव्यवस्था को मजबूत बनाए रखते हैं, लेकिन अमेरिका का दबदबा इनके ऊपर बना हुआ है.

कहां से होती है भारत की जरूरत पूरी?
भारत बड़े क्रूड ऑयल इम्पोर्ट करने वाले देशों में शामिल है. 2024 में, भारत ने रिकॉर्ड 21.8 मिलियन टन क्रूड ऑयल का आयात किया, जिसमें रूस, इराक, और सऊदी अरब प्रमुख आपूर्तिकर्ता थे. भारतीय कंपनियां जैसे इंडियन ऑयल, बीपीसीएल, एचपीसीएल, रिलायंस इंडस्ट्रीज और नायरा एनर्जी इसमें प्रमुख भूमिका निभाती हैं.

Tags: Business news, Crude oil, Crude lipid prices, Russia crude oil

FIRST PUBLISHED :

October 6, 2024, 17:25 IST

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