कुल्लू: हिमाचल प्रदेश में कई तरह की कलाएं मौजूद हैं. इन्हीं में एक है यहां की कांगड़ा पेंटिंग. कांगड़ा पेंटिंग न सिर्फ देखने में बेहद खूबसूरत होती है, बल्कि इन्हें बनाने में भी खास तरह के रंगों, कागज़ और पेंट ब्रश का उपयोग किया जाता है. और दुनिया भर में इन्हें एक खास पहचान भी प्राप्त है. धर्मशाला की रहने वाली पूनम ने लोकल 18 को बताया कि वह पिछले 17 साल से कांगड़ा पेंटिंग बना रही हैं. कांगड़ा मिनिएचर पेंटिंग को बेहद ही महीन पेंट ब्रश के द्वारा, हैंड मेड पेपर पर बनाया जाता है. उन्होंने बताया कि उनके द्वारा बनाई गई इन कांगड़ा मिनिएचर पेंटिंग को GI टैग प्राप्त है. साथ ही इसके लिए उन्हें राज्य पुरस्कार भी मिल चुके हैं.
राधा कृष्ण होते हैं पेंटिंग के मुख्य किरदार
हिमाचल की इस कला को संजोकर रख रही पूनम कटोच ने बताया कि इस तरह की पेंटिंग्स आध्यात्मिक (स्पिरिचुअल) थीम पर बनाई जाती हैं, जिसमें राधा कृष्ण ही इनकी कहानी के मुख्य किरदार होते हैं. यहां राधा कृष्ण को दर्शाते हुए पेंटिंग बनाई जाती हैं, जिनमें बेहद ही बारीकी से काम किया जाता है. एक मिनिएचर पेंटिंग को बनाने में हफ्ते से 10 दिन भी लग जाते हैं और महीन काम होने के कारण कभी-कभी महीनों से ज्यादा समय भी लग सकता है. पूनम ने बताया कि इन पेंटिंग को बनाने में बारीक सिंगल हेयर ब्रश का इस्तेमाल किया जाता है.
स्टोन कलर और खास पेंट ब्रश से बनती है पेंटिंग
इन पेंटिंग में इस्तेमाल होने वाले रंग भी स्टोन कलर होते हैं, जिन्हें पत्थरों से निकाला जाता है. इन रंगों को खास तौर पर राजस्थान से लाया जाता है. साथ ही इन पेंटिंग के लिए सिंगल हेयर ब्रश का इस्तेमाल किया जाता है, जिन्हें गिलहरी के ऊन के बाल से बनाया जाता है. मिनिएचर पेंटिंग के लिए खास तौर पर यह ब्रश मिलते हैं. इन पेंटिंग की कीमत भी काफी ज्यादा रहती है क्योंकि इनमें बारीकी से असली सोने (गोल्ड) का रंग दिया जाता है. इन पेंटिंग में ज्वैलरी के लिए इस्तेमाल होने वाला सोने का रंग भी असली सोने से बनाया जाता है.
Tags: Himachal news, Kullu News, Local18, Special Project
FIRST PUBLISHED :
October 21, 2024, 16:57 IST