Kharmas 2024: 15 दिसंबर से खरमास शुरू होने वाला है। खरमास के दौरान विवाह समेत सभी मांगलिक कार्य पूरी तरह से बंद हो जाते हैं। बता दें कि जब सूर्य मीन या धनु राशि में प्रवेश करते हैं तो खरमास लगता है। पंचांग के अनुसार, 15 दिसंबर को रात 10 बजकर 19 मिनट पर सूर्य धनु राशि में गोचर करेंगे। खरमास समाप्त 14 जनवरी 2025 को होगा। तो चलिए अब जानते हैं कि आखिर खरमास के दौरान शादी-विवाह और अन्य मांगलिक कार्य क्यों नहीं संपन्न होते हैं।
खरमास में क्यों नहीं होते विवाह और अन्य मांगलिक कार्य?
खरमास के शुरू होते ही शादी-विवाह और सगाई पर रोक लग जाती है। इसके अलावा खरमास में गृह प्रवेश, नामकरण, मुंडन और अन्य कोई भी नया कार्य आरंभ नहीं किया जाता है। खरमास में शुभ और मांगलिक कार्य नहीं होने की वजह यह कि सूर्य के तेज का कम होना। दरअसल, सूर्य देव को धरती पर जीवन के दाता माने जाते हैं। सूर्य देव के ताप के बिना पृथ्वी पर जीवन संभव नहीं है। ऐसे में सूर्य जब मीन या धनु राशि में प्रवेश करते हैं तो उनका तेज कम हो जाता है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, किसी भी शुभ और मांगलिक कार्य के लिए सूर्य का तेज होना बहुत ही अच्छा माना जता है। इसी वजह से खरमास के दौरान विवाह और मांगलिक कार्य नहीं किए जाते हैं। ज्योतिष में सूर्य ग्रहों के राजा माने गए हैं और वे पिता पक्ष का प्रतिनिधित्व करते हैं, इसलिए उनके तेज का कम होना मांगलिक करने के लिए उत्तम नहीं माना गया है।
खरमास में इन नियमों का करें पालन
- खरमास के दौरान भगवान सूर्य देव की उपासना करें।
- खरमास में भगवान विष्णु की पूजा जरूर करें।
- खरमास में दान-पुण्य करने का विशेष महत्व। अपनी क्षमतानुसार दान करें।
- खरमास के दौरान पूजा पाठ, भजन-कीर्तन करने से शुभ फलों की प्राप्ति होती है।
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारियां धार्मिक आस्था और लोक मान्यताओं पर आधारित हैं। इसका कोई भी वैज्ञानिक प्रमाण नहीं है। इंडिया टीवी एक भी बात की सत्यता का प्रमाण नहीं देता है।)
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