![America mistreated deported Indians Congress workers protested in Hyderabad](https://static.indiatv.in/khabar-global/images/new-lazy-big-min.jpg)
अमेरिका से वापस भेजे गए ‘अवैध’ भारतीय प्रवासियों से दुर्व्यवहार के खिलाफ कांग्रेस नेताओं और कार्यकर्ताओं ने शुक्रवार को हैदराबाद में प्रदर्शन किया। पूर्व सांसद वी. हनुमंत राव सहित कांग्रेस के अन्य नेताओं ने तेलंगाना में पार्टी मुख्यालय गांधी भवन के बाहर प्रदर्शन किया और इस दौरान उन्होंने प्रतीकात्मक रूप से अपने हाथों में जंजीरें बांध रखी थीं। कांग्रेस के कार्यकर्ताओं ने हाथों में तख्तियां पकड़ रखी थीं जिस पर लिखा था, ‘‘हथकड़ी नहीं, सम्मान दो।’’ उन्होंने आरोप लगाया कि अमेरिका से स्वदेश लाए गए भारतीय नागरिकों के हाथों में हथकड़ियां हैं, लेकिन तब भी केंद्र की राष्ट्रीय जनतांत्रिक सरकार (राजग) इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं दे रही है।
राज्यसभा में बोले एस जयशंकर
विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने राज्यसभा में बृहस्पतिवार को बताया कि 2009 से अब तक 15,668 अवैध भारतीय प्रवासियों को अमेरिका से भारत भेजा जा चुका है। अमेरिका के एक सैन्य विमान में सवार होकर बुधवार को अमृतसर पहुंचे 104 अवैध भारतीय प्रवासियों से दुर्व्यवहार को लेकर विपक्षी दलों द्वारा तीखी आलोचना किए जाने के बाद जयशंकर ने राज्यसभा में यह बयान दिया। उन्होंने कहा कि अमेरिका से भारतीयों को निर्वासित किए जाने की प्रक्रिया नयी नहीं है। बता दें कि इस मामले में राज्यसभा में बोलते हुए विदेश मंत्री डॉ. एस जयशंकर ने कहा कि हम अमेरिकी सरकार के साथ बातचीत कर रहे हैं ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि वापस लौटने वाले निर्वासितों के साथ किसी भी तरह का दुर्व्यवहार न हो। जयशंकर ने कहा कि यह सभी देशों का दायित्व है कि यदि उनके नागरिक विदेश में अवैध रूप से रह रहे पाए जाते हैं तो उन्हें वापस ले लिया जाए।
मायावती ने भी की आलोचना
इस मामले पर बसपा प्रमुख मायावती ने सोशल मीडिया साइट एक्स पर लिखा, 'महिलाओं व बच्चों सहित गुजरात, पंजाब व हरियाणा आदि राज्यों के 104 भारतीयों को हथकड़ी व पांव में बेड़ी डालकर अमानवीय तरीके से अमेरिका द्वारा सैन्य विमान से वापस भेजे गए भारतीयों का मामला अति-दुखद तथा देश के स्वाभिमान से जुड़ा व ठेस पहुंचाने वाला अति-चिन्तनीय। कैदियों से भी बदतर हालात में वापस लौटाए गए भारतीयों के सम्बंध में केन्द्र सरकार का आज संसद में दिया गया बयान घटना की गंभीरता एवं उससे भारतीयों को पहुंचने वाले दुख व शर्मिन्दगी को देखते हुए लीपापोती करने वाला ज्यादा व संतोषजनक कम। सरकार मामले को पूरी गंभीरता से ले।'