लौंकी व कद्दू
हल्द्वानी: क्या आपने कभी नौ किलो का कद्दू और 12 किलो की लौकी देखी है? अगर आप चाहें तो आप भी इन्हें अपने घर में आसानी से उगा सकते हैं. पंतनगर किसान मेले में दूनागिरी से आए किसान गोपाल राम ने बताया कि उन्होंने सही समय पर खाद का इस्तेमाल कर अपने खेत में नौ किलो का कद्दू और 12 किलो की लौकी बोई है.
किसान मेला और नई तकनीकें
जीबी पंत कृषि विश्वविद्यालय में चार दिवसीय किसान मेले और कृषि उद्योग प्रदर्शनी का आयोजन किया गया. मेले के माध्यम से वैज्ञानिक, किसान और उद्यमी एक ही स्थान पर कृषि संबंधी नई तकनीकों और जानकारियों का आदान-प्रदान कर रहे हैं. मेले में दूनागिरी से आए किसान गोपाल राम ने कद्दू और लौकी को प्रदर्शनी में रखा है. उन्होंने बताया कि उनके खेत में हर साल इतने बड़े कद्दू और लौकी होते हैं, जिसका स्वाद भी बेहद अच्छा होता है. यह लौकी-कद्दू आसपास के क्षेत्र में आकर्षण का केंद्र बने रहते हैं.
सही खाद का करें उपयोग
गोपाल राम ने बताया कि उन्होंने सही समय पर खाद का इस्तेमाल कर अपने घर के खेत में नौ किलो का कद्दू और 12 किलो की लौकी बोई है. आप भी ऐसा कर इन्हें अपने घर में उगा सकते हैं. उन्होंने बताया कि बीज बोने से पहले मिट्टी और खाद का सही मात्रा में मिश्रण बना लें. फिर उसमें दीमक की दवा डालें और फिर बीज बोएं. ऐसा करने से पेड़ में कभी दीमक नहीं लगेगा और पौधे की वृद्धि अच्छी होगी. उसके बाद हर माह गुड़ाई करते रहें और पेड़ के चारों ओर गड्डा करके खाद डालते रहें. ऐसा करने से सब्जी अच्छी होगी.
मेले में किसानों का सम्मान
मेले में नौ किसानों को सम्मानित किया गया. प्रगतिशील किसान चंपावत के भीम सिंह महर, हरिद्वार के ओमवीर सिंह, पिथौरागढ़ के केशर दत्त, चमोली की लक्ष्मी देवी, नैनीताल के प्रताप सिंह, देहरादून के इंदर सिंह नेगी, अल्मोड़ा के शंकर सिंह बिष्ट, ऊधमसिंह नगर के अनिल दीप सिंह और रुद्रप्रयाग की सुनीता देवी को स्मृति चिह्न और प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया.
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FIRST PUBLISHED :
October 7, 2024, 13:33 IST