CBI की वर्दी, सुप्रीम कोर्ट का अरेस्‍ट वारंट! 1 वीडियो कॉल से उड़ाए 7 करोड़ रु

2 hours ago 1

हाइलाइट्स

धोखाधड़ी की शुरुआत एक फर्जी सीबीआई अधिकारी के फोन से हुई.आरोपी ने एक कार्यालय को सीबीआई ऑफिस दिखाते हुए बात की. ओसवाल को वॉट्सऐप पर सुप्रीम कोर्ट का फर्जी अरेस्‍ट वारंट भी भेजा.

नई दिल्‍ली. वर्धमान ग्रुप के चेयरपर्सन और पद्म भूषण सम्मानित उद्योगपति एस पी ओसवाल से 7 करोड़ रुपये की साइबर धोखाधड़ी का मामला सामने आया है. असम और पश्चिम बंगाल के साइबर ठगों ने सीबीआई अधिकारियों के रूप में खुद को पेश करते हुए यह ठगी की. लुधियाना पुलिस ने शनिवार को गुवाहाटी से दो आरोपियों को गिरफ्तार किया और उनके पास से 5.2 करोड़ रुपये बरामद किए. यह देश में साइबर अपराध के मामलों में अब तक की सबसे बड़ी रकम की जब्ती बताई जा रही है. गृह मंत्रालय के भारतीय साइबर अपराध समन्वय केंद्र के अनुसार, इतनी बड़ी रकम पहले कभी बरामद नहीं हुई है.

लुधियाना के पुलिस आयुक्त कुलदीप सिंह चहल ने बताया कि वर्धमान ग्रुप ने तब शिकायत दर्ज कराई जब ओसवाल को यह एहसास हुआ कि उन्हें ठगा गया है. हालांकि, कंपनी से इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली है. गिरफ्तार किए गए आरोपी अट्नु चौधरी और आनंद कुमार चौधरी एक नौ सदस्यीय गिरोह का हिस्सा थे, जिन्होंने ओसवाल को यह विश्वास दिलाया कि उनके आधार कार्ड का इस्तेमाल 58 फर्जी पासपोर्ट और 16 डेबिट कार्ड के अवैध रूप से मलेशिया भेजने के लिए हुआ है.

ये भी पढ़ें- त्‍योहारों से पहले सस्‍ता होगा पेट्रोल-डीजल, कं‍पनियां हैं तैयार, सरकार के इशारे का इंतजार, कितने रुपये घटेंगे रेट

सीबीआई अधिकारी बन किया वीडियो कॉल
टाइम्‍स ऑफ इंडिया की एक रिपोर्ट के अुनसार धोखाधड़ी की शुरुआत एक फर्जी सीबीआई अधिकारी के फोन से हुई, जिसने खुद को मुंबई पदस्‍थ बताा. आरोपी ने ओसवाल को वीडियो कॉल कर सीबीआई की वर्दी पहनी और कार्यालय में सीबीआई का लोगो दिखाते हुए बात की. इसके बाद उसने व्हाट्सएप पर एक फर्जी “गिरफ्तारी वारंट” भेजा और दावा किया कि इसे सुप्रीम कोर्ट ने जारी किया है.

जमानत के लिए 7 करोड़ ठग लिए
सुप्रीम कोर्ट के इस फर्जी वारंट के आधार पर आरोपी ने ओसवाल से जमानत की प्रक्रिया के नाम पर 7 करोड़ रुपये दो बैंक खातों में ट्रांसफर करवाए. ठग ने ओसवाल को यह कहकर गुमराह किया कि उन्हें “डिजिटल गिरफ्तारी” के तहत रखा जा रहा है. शिकायत दर्ज होने के बाद, पुलिस ने तुरंत बैंक खातों को फ्रीज करने की प्रक्रिया शुरू की.

1.7 करोड़ निकाल चुके थे आरोपी
लुधियाना साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन के एसएचओ जतिंदर सिंह ने बताया कि ठगों ने ओसवाल से 4 करोड़ रुपये एक खाते में और 3 करोड़ रुपये दूसरे खाते में तीन ट्रांजैक्शन के माध्यम से ट्रांसफर करवाए थे. जब तक खाते फ्रीज किए गए, आरोपी 1.7 करोड़ रुपये निकाल चुके थे. एसएचओ सिंह ने बताया, “हमने शिकायतकर्ता को 5.2 करोड़ रुपये लौटा दिए हैं, जो कि हमने आरोपियों से जब्त किए थे.”

Tags: Business news, Cyber Crime, Cyber Fraud, Online fraud

FIRST PUBLISHED :

September 30, 2024, 10:35 IST

*** Disclaimer: This Article is auto-aggregated by a Rss Api Program and has not been created or edited by Nandigram Times

(Note: This is an unedited and auto-generated story from Syndicated News Rss Api. News.nandigramtimes.com Staff may not have modified or edited the content body.

Please visit the Source Website that deserves the credit and responsibility for creating this content.)

Watch Live | Source Article