निगम के अध्यक्ष रघुवीर सिंह का अफवाहों पर विराम, बोले- HPTDC में ऑल इज वैल

2 hours ago 2

X

पर्यटन

पर्यटन विकास निगम

शिमला. हिमाचल प्रदेश पर्यटन विकास निगम कुल 56 होटलों का संचालन करता है. 19 नवंबर को हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायलय ने HPTDC के 18 होटलों को बंद करने के आदेश दिए. निगम के आवेदन के बाद 22 नवंबर को 18 में से 9 होटलों को खोलने की अनुमति दी गई. इसके बाद 25 नवंबर को हुई सुनाई के बाद सभी 18 होटलों को बंद करने के आदेश पर उच्च न्यायलय ने स्टे लगा दिया. इस मामले पर अगली सुनवाई 3 जनवरी को होनी है.

मामले के बीच पर्यटन विकास निगम कर्मचारी संघ ने निगम के अध्यक्ष रघुबीर सिंह बाली पर कई प्रकार के आरोप लगाए और मुख्यमंत्री से उन्हें पद से हटाने की भी मांग की थी. सोशल मीडिया पर भी कई प्रकार की अफवाहें उड़ी, जिसमें सरकार द्वारा इन होटलों को लीज पर देने की बात कही गई.

HPTDC में 1673 कर्मचारी करते हैं काम
हिमाचल प्रदेश पर्यटन विकास निगम के अध्यक्ष एवम् नगरोटा बगवां के विधायक रघुवीर सिंह बाली ने इन सभी चर्चाओं पर विराम लगाया है. उन्होंने बताया कि ऑल इस वैल इन HPTDC. उच्च न्यायालय के फैसले के अनुसार HPTDC के सभी होटलों को खोलने की अनुमति मिल गई है. यह सभी होटल सुचारू रूप से पहले की तरह सेवाएं देंगे. हालांकि, उच्च न्यायलय ने कर्मचारियों को देने वाले बेनिफिट्स को समयबद्ध किया है. उच्च न्यायलय ने HPTDC के 1673 कर्मचारियों और उनके परिवार के बारे में सोचा है. उच्च न्यायलय का धन्यवाद करते हुए HPTDC के अध्यक्ष ने बताया कि उच्च न्यायलय ने दूरदराज क्षेत्र में पर्यटकों को सेवाएं देने वाले HPTDC को राहत दी है.

दूरदराज के क्षेत्रों में सेवाएं देता है HPTDC
HPTDC ऐसी संस्था है, जो दूरदराज के क्षेत्रों में सेवाएं देती है. HPTDC की बेहतरीन सेवाओं के लिए कई बार राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय स्तर के VIP निगम की सराहना भी कर चुके हैं. HPTDC को किसी लॉस या प्रॉफिट के अनुसार नहीं देखा जा सकता, यह सेवा का एक माध्यम है. HPTDC ने कल्पा, काज़ा, केलांग, सीसु और जिसपा जैसे दूरदराज क्षेत्रों में होटल बनाए हैं. HPTDC पर्यटकों के हित के लिए सदैव तत्पर है. निगम के सभी कर्मचारी बेहतरीन सेवाएं देते हैं.

क्यों दिए थे होटलों को बंद करने के आदेश
HPTDC के एक रिटायर्ड कर्मचारी ने उच्च न्यायलय के समकक्ष उन्हें रिटायरी लाभ न मिलने का मुद्दा उठाया था. इसके बाद उच्च न्यायलय ने निगम से होटलों में ऑक्यूपेसी का रिकॉर्ड मांगा था और कुछ होटलों में ऑक्यूपेंसी कम होने के चलते उच्च न्यायलय ने उन्हें बंद करने के आदेश दिए थे. इसके अलावा अक्टूबर 2022 में भाजपा सरकार के दौरान HPTDC की BOD की बैठक हुई.

इस बैठक में 1 जनवरी 2016 के रिवीजन ऑफ पे स्केल को एडॉप्ट कर लिया गया. इसे एडॉप्ट करने के बाद कर्मचारियों की सैलरी और अन्य लाभ की राशि दोगुनी हो गई. हालांकि, बीते 2 वर्षों में निगम ने रिकॉर्ड टर्नओवर किया है, जो आज तक के इतिहास में कभी नहीं हुआ. लेकिन, रिवीजन ऑफ पे स्केल के कारण निगम पर अतिरिक्त बोझ पड़ा, जिस कारण निगम को नुकसान हुआ है.

Tags: Himachal pradesh news, Latest hindi news, Local18, Shimla News

FIRST PUBLISHED :

November 28, 2024, 11:51 IST

*** Disclaimer: This Article is auto-aggregated by a Rss Api Program and has not been created or edited by Nandigram Times

(Note: This is an unedited and auto-generated story from Syndicated News Rss Api. News.nandigramtimes.com Staff may not have modified or edited the content body.

Please visit the Source Website that deserves the credit and responsibility for creating this content.)

Watch Live | Source Article