Agency:News18 Madhya Pradesh
Last Updated:February 01, 2025, 12:49 IST
Basant Panchami 2025 Exact Date: हिन्दू धर्म में माघ महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को बसंत पंचमी मनाई जाती है. इस दिन माँ सरस्वती की कृपा भक्तो पर बरसती है. इस दिन बहुत से ऐसे कार्य जिन्हे भूल से भी नहीं कर...और पढ़ें
बसंत पंचमी
हाइलाइट्स
- बसंत पंचमी पर पेड़-पौधों को नहीं काटना चाहिए।
- क्रोध और अहंकार से बचना चाहिए।
- मांस और शराब का सेवन नहीं करना चाहिए।
उज्जैन. हिंदू धर्म में हर तिथि और हर वार का अपना अलग धार्मिक महत्व है. माघ महीने का भी विशेष महत्व है. अभी माघ महीने की शुरुआत हो चुकी है. इस महीने में कई बड़े पर्व और त्यौहार मनाए जाते हैं, जिनमें से एक है बसंत पंचम. बसंत पंचमी के दिन माता सरस्वती की पूजा की जाती है. माता सरस्वती को विद्या की देवी माना जाता है. कहा जाता है कि बसंत पंचमी के दिन ही माता सरस्वती प्रकट हुई थीं. हर साल बसंत पंचमी माघ महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को मनाई जाती है. इस दिन कई लोग व्रत रखकर और पूजा करके माता की आराधना करते हैं, लेकिन कुछ चीजें हैं, जिन्हें इस दिन भूलकर भी नहीं करना चाहिए. आइए उज्जैन के आचार्य आनंद भारद्वाज से जानते हैं कि कौनसी चीजें इस दिन वर्जित मानी गई हैं.
कब मनाई जाएगी बसंत पंचमी?
वैदिक पंचांग के अनुसार माघ महीने के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि की शुरुआत 2 फरवरी रविवार सुबह 11:53 बजे से हो रही है और समापन अगले दिन यानी 3 फरवरी सोमवार सुबह 9:36 बजे होगा. उदयातिथि के अनुसार 3 फरवरी को बसंत पंचमी का त्यौहार यानी सरस्वती पूजा मनाई जाएगी.
भूलकर भी ना करें ये कार्य
-शास्त्रों के अनुसार बसंत पंचमी के दिन पेड़-पौधों को नहीं काटना चाहिए, क्योंकि यह दिन बसंत ऋतु की शुरुआत का प्रतीक है. इस दिन पेड़-पौधों को नुकसान पहुंचाने से माँ सरस्वती नाराज होती हैं.
– शास्त्रों के अनुसार क्रोध और अहंकार मनुष्य के सबसे बड़े शत्रु माने गए हैं. बसंत पंचमी के दिन क्रोध और अहंकार से बचना चाहिए.
– शास्त्रों के अनुसार बसंत पंचमी के दिन मांस और शराब का सेवन नहीं करना चाहिए, क्योंकि इससे अशुभ परिणाम हो सकते हैं और माँ सरस्वती रुष्ट हो सकती हैं. इस दिन व्रत रखकर माँ की आराधना करनी चाहिए.
बसंत पंचमी पर कौनसे कार्य करना शुभ
बसंत पंचमी के दिन सुबह ब्रह्म मुहूर्त में उठकर उगते सूर्य को अर्घ्य दें. यह कार्य बहुत ही शुभ माना जाता है. सूर्य देव को जल अर्पित करने के बाद पीले वस्त्र पहनकर विधिपूर्वक माँ सरस्वती की पूजा करना लाभकारी होता है. इस दिन कोई भी कार्य जैसे भूमि, वाहन खरीदना और विवाह करना काफी शुभ होता है.
Location :
Ujjain,Madhya Pradesh
First Published :
February 01, 2025, 12:47 IST
Disclaimer: इस खबर में दी गई जानकारी, राशि-धर्म और शास्त्रों के आधार पर ज्योतिषाचार्य और आचार्यों से बात करके लिखी गई है. किसी भी घटना-दुर्घटना या लाभ-हानि महज संयोग है. ज्योतिषाचार्यों की जानकारी सर्वहित में है. बताई गई किसी भी बात का Local-18 व्यक्तिगत समर्थन नहीं करता है.