Last Updated:January 19, 2025, 07:18 IST
Kisan Andolan: किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल मेडिकल सहायता लेने के लिए राजी हो गए हैं. वो अगले महीने 14 फरवरी से केंद्र सरकार के साथ बातचीत के लिए भी मान गए हैं. केंद्रीय प्रतिनिधिमंडल से बातचीत के बाद दोनों पक्षों के बीच शनिवार रात...और पढ़ें
नई दिल्ली. पिछले करीब एक साल से हरियाण-पंजाब सीमा पर धरने पर बैठे किसानों की केंद्र सरकार के साथ बात कुछ बनती नजर आ रही है. किसान नेता जगजीत सिंह दल्लेवाल पिछले साल 26 नवंबर से आमरण अनशन पर हैं. आधी रात के आसपास वो चिकित्सा सहायता स्वीकार करने के लिए सहमत हो गए और उन्हें ड्रिप लगाई गई. इससे पहले केंद्र सरकर का एक प्रतिनिधि शनिवार को किसान नेताओं से मिला. मांगों पर चर्चा के लिए अगले महीने उन्हें चंडीगढ़ में आमंत्रित किया गया है. इसके साथ ही जल्द ही दिल्ली-पंजाब नेशनल हाईवे-1 जल्द खुलने की उम्मीद नजर आ रही है. अगर ऐसा होता है तो हजारों लोगों को इससे राहत मिलेगी.
केंद्रीय कृषि मंत्रालय के संयुक्त सचिव प्रिया रंजन के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने डल्लेवाल से मुलाकात की. उन्होंने संयुक्त किसान मोर्चा और किसान मजदूर मोर्चा (केएमएम) के प्रतिनिधियों के साथ बैठक की. बैठक के बाद प्रिया रंजन ने एक प्रस्ताव पढ़ा, जिसमें डल्लेवाल से अपनी भूख हड़ताल समाप्त करने का आग्रह किया गया. साथ ही किसान नेताओं को 14 फरवरी को शाम 5 बजे चंडीगढ़ के सेक्टर- 26 में महात्मा गांधी लोक प्रशासन संस्थान में एक बैठक के लिए आमंत्रित किया गया. यह निमंत्रण डल्लेवाल सहित एसकेएम (एनपी) और केएमएम के समन्वयक सरवन सिंह पंधेर को संबोधित था.
संयुक्त सचिव प्रिया रंजन ने क्या कहा?
प्रिय रंजन ने कहा, “हम डल्लेवाल जी के स्वास्थ्य को लेकर बहुत चिंतित हैं. दोनों मंचों के नेताओं और डल्लेवालजी से मुलाकात के बाद केंद्रीय कृषि मंत्रालय ने केंद्रीय मंत्रियों और पंजाब कैबिनेट मंत्रियों के साथ चर्चा के लिए निमंत्रण दिया है. यह फरवरी 2024 में आयोजित बैठकों के क्रम में होगा. ” इस बैठक के लिए 14 फरवरी का दिन चुने जाने के बारे में बताते हुए एक अधिकारी ने कहा कि दिल्ली में 9 फरवरी तक आचार संहिता लागू है. इसके बाद 12-13 फरवरी को केंद्रीय बजट पेश होना है. इसलिए पहले बैठक संभव नहीं थी.
क्या बोले डल्लेवाल?
डल्लेवाल ने इसपर कहा, “अगर भूख हड़ताल पर बैठे 121 किसान मुझे बताएंगे तो मैं चिकित्सा सहायता लूंगा लेकिन तब तक कुछ नहीं खाऊंगा जब तक कि सबसे महत्वपूर्ण मांग एमएसपी को कानूनी गारंटी के रूप में पूरा नहीं किया जाता है.” इसके तुरंत बाद भूख हड़ताल पर बैठे 121 किसानों ने डल्लेवाल से चिकित्सा सहायता स्वीकार करने का आग्रह किया और वह सहमत हो गए. फिर उन्हें ड्रिप लगाई गई.
First Published :
January 19, 2025, 07:15 IST