कानून तोड़कर देश में घुसोगे तो... 104 भारतीयों को वापस भेजने पर क्या बोला US?

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Last Updated:February 06, 2025, 18:33 IST

US On Indians Deportation: अमेरिका से 104 भारतीयों को बेड़ियों में वापस भेजे जाने के बाद दिल्ली स्थित दूतावास ने कहा कि 'सभी आव्रजन (Immigration) कानूनों ईमानदारी से लागू करना अमेरिका की नीति है.'

कानून तोड़कर देश में घुसोगे तो... 104 भारतीयों को वापस भेजने पर क्या बोला US?

भारत वापस भेजे गए लोगों ने बताया कि फ्लाइट के दौरान उन्हें हथकड़ियों में बांधकर रखा गया था.

हाइलाइट्स

  • अमेरिका ने कल 104 भारतीयों को निर्वासित कर भारत भेजा था.
  • अमेरिकी दूतावास ने कहा- ईमानदारी से कानून लागू करेंगे.
  • विदेश मंत्री एस जयशंकर ने संसद के भीतर बयान दिया है.

US Deportation Row: अमेरिका ने 104 भारतीयों को निर्वासित करते हुए जैसा व्यवहार किया, उसे लेकर नाराजगी बढ़ती जा रही है. बुधवार को लौटे भारतीयों ने जब आपबीती सुनाई, तब अमेरिका की इस हरकत का पता चला. वापसी की उड़ान के दौरान उन्हें हथकड़ी लगाई गई, जो भारत पहुंचने पर ही खोली गई. अब अमेरिका के नाम पर रटा-रटाया बयान जारी किया है. नई दिल्ली स्थित अमेरिकी दूतावास के प्रवक्ता ने कहा कि आव्रजन कानूनों (Immigration laws) को लागू करना देश की राष्ट्रीय सुरक्षा और सार्वजनिक सुरक्षा के लिए महत्वपूर्ण है. उन्होंने कहा, ‘यह संयुक्त राज्य अमेरिका की नीति है कि सभी अस्वीकार्य और हटाए जाने योग्य विदेशियों के खिलाफ आव्रजन कानूनों को ईमानदारी से लागू किया जाए.

इस मामले पर विदेश मंत्री एस जयशंकर ने गुरुवार को संसद में बयान दिया. उन्होंने कहा कि सरकार यह सुनिश्चित करने के लिए अमेरिका के साथ बातचीत कर रही है कि निर्वासित किए जा रहे भारतीयों के साथ किसी भी प्रकार का दुर्व्यवहार न हो.

संसद में जयशंकर का बयान

विदेश मंत्री ने कहा, ‘विमान द्वारा निर्वासन के लिए मानक संचालन प्रक्रिया संयम के उपयोग पर बल देती है. हालांकि, हमें सूचित किया गया है कि महिलाओं और बच्चों को रोका नहीं गया है.’ उन्होंने कहा, ‘आवागमन के दौरान भोजन और अन्य जरूरतों से संबंधित संभावित चिकित्सा आपात स्थितियों सहित निर्वासितों की अन्य जरूरतों पर ध्यान दिया जाता है. टॉयलेट ब्रेक के दौरान जरूरत पड़ने पर निर्वासित लोगों को रोका नहीं जाता है. यह चार्टर्ड असैन्य विमानों के साथ-साथ सैन्य विमानों पर भी लागू होता है.’

‘सालों से होता आ रहा निर्वासन’

जयशंकर ने कहा कि अमेरिका से भारतीयों को निर्वासित किए जाने की प्रक्रिया नई नहीं है और यह सभी देशों का दायित्व है कि यदि उनके नागरिक विदेशों में अवैध रूप से रह रहे हैं तो उन्हें वापस ले.

यह नीति केवल एक देश पर लागू नहीं है. निर्वासन की प्रक्रिया कोई नई नहीं है, यह कई वर्षों से है.

जयशंकर ने अमेरिका से अब तक भारत निर्वासित किए गए लोगों के आंकड़े भी सदन के समक्ष रखे. उन्होंने कहा कि साल 2009 में 734, साल 2010 में 799, साल 2011 में 597, साल 2012 में 530 भारतीयों को निर्वासित किया गया. उन्होंने इस संबंध में 2024 तक के आंकड़े साझा किए.

अमेरिकी सेना का एक विमान बुधवार को अमेरिका में कथित तौर पर बिना दस्तावेजो के रह रहे भारतीयों को लेकर अमृतसर हवाई अड्डे पर उतरा था. निर्वासित लोगों में से 30 पंजाब से, 33-33 हरियाणा और गुजरात से, तीन-तीन महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश से तथा दो चंडीगढ़ से हैं. 104 लोगों में 19 महिलाएं और चार वर्षीय एक लड़का, पांच व सात वर्षीय दो लड़कियों सहित 13 नाबालिग शामिल हैं.

डोनाल्ड ट्रंप के दूसरी बार सत्ता संभालने के बाद से ये अमेरिका में रह रहे भारतीयों का पहला निर्वासन है. राष्ट्रपति ट्रंप के साथ व्यापक वार्ता के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आगामी वाशिंगटन यात्रा से कुछ ही दिन पहले यह कार्रवाई हुई है. (एजेंसी इनपुट)

Location :

New Delhi,Delhi

First Published :

February 06, 2025, 18:31 IST

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