Last Updated:February 08, 2025, 06:22 IST
Jaya Ekadashi 2025 : जया एकादशी का व्रत आध्यात्मिक उन्नति और भगवान विष्णु की कृपा प्राप्ति का महत्वपूर्ण अवसर होता है. इस दिन विशेष रूप से भगवान विष्णु से आशीर्वाद पाने के लिए उनके निमित्त व्रत रखा जाता है.
हाइलाइट्स
- जया एकादशी व्रत 8 फरवरी 2025 को है.
- पूजा का शुभ मुहूर्त ब्रह्म मुहूर्त 5:21 से 6:13 बजे तक.
- व्रत पारण 9 फरवरी 2025 को सुबह 7:04 से 9:17 बजे तक.
Jaya Ekadashi 2025 : जया एकादशी हिंदू धर्म में एक महत्वपूर्ण व्रत है जो विशेष रूप से माघ माह के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को मनाया जाता है. इस दिन का धार्मिक महत्व अत्यधिक है और यह दिन भगवान विष्णु की पूजा के लिए समर्पित है. एकादशी व्रत हर माह में दो बार आता है एक शुक्ल पक्ष में और दूसरा कृष्ण पक्ष में. इस व्रत के दौरान अन्न और जल का त्याग किया जाता है और व्रती केवल प्रभु की आराधना में लीन रहते हैं. आइए जानते हैं भोपाल निवासी ज्योतिषी एवं वास्तु सलाहकार पंडित हितेंद्र कुमार शर्मा से जया एकादशी व्रत की पूजा विधि, व्रत पारण का समय और इसका महत्व.
जया एकादशी व्रत 2025 तिथि
हिंदू पंचांग के अनुसार, जया एकादशी इस बार 7 फरवरी 2025 को रात 9:26 बजे आरंभ होगी और 8 फरवरी 2025 को रात 8:15 बजे समाप्त होगी. तिथि के अनुसार, व्रत 8 फरवरी को रखा जाएगा क्योंकि यह उदया तिथि है. इस दिन को विशेष रूप से व्रति भगवान विष्णु के साथ जुड़े कार्यों में समर्पित रहते हैं, ताकि उनके जीवन से सभी दुखों और नकारात्मकताओं का नाश हो सके.
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रवि योग में जया एकादशी व्रत 2025
इस बार जया एकादशी पर रवि योग का योग बन रहा है. रवि योग सूर्य के प्रभाव से होता है, और इस दिन सूर्य की उपासना का विशेष महत्व है. यह योग सुबह 7:05 बजे से शाम 6:07 बजे तक रहेगा. सूर्य के प्रभाव से व्यक्ति के जीवन के दोष समाप्त होते हैं और पुण्य की प्राप्ति होती है. इस दिन किया गया व्रत विशेष फलदायक माना जाता है.
जया एकादशी व्रत 2025 पूजा का शुभ मुहूर्त
पंचांग के अनुसार, जया एकादशी पर पूजा के लिए सबसे उत्तम समय ब्रह्म मुहूर्त होगा, जो तड़के 5:21 बजे से लेकर 6:13 बजे तक रहेगा. इसके अलावा, विजय मुहूर्त दोपहर 2:26 बजे से 3:10 बजे तक रहेगा, और गोदुली मुहूर्त शाम 6:03 से लेकर 6:30 बजे तक रहेगा. निशिता मुहूर्त रात्रि 12:09 बजे से 1:01 बजे तक रहेगा. इन मुहूर्तों में पूजा करने से अधिक लाभ प्राप्त होता है.
जया एकादशी व्रत की पूजा विधि
जया एकादशी के दिन पूजा विधि सरल और प्रभावी है.
सुबह स्नान करने के बाद स्वच्छ वस्त्र पहनकर भगवान विष्णु की पूजा करें.
भगवान की प्रतिमा को गंगाजल से स्नान कराकर, उन्हें पीले वस्त्र, चंदन, पुष्प, धूप, दीप आदि अर्पित करें.
भगवान को तुलसी दल, फल और मिठाई का भोग अर्पित करें.
फिर विष्णु मंत्रों का जाप करें और व्रत कथा का पाठ करें.
यह दिन विशेष रूप से भगवान विष्णु की कृपा पाने के लिए उपयुक्त है.
जया एकादशी व्रत का महत्व
जया एकादशी का व्रत अत्यधिक पुण्यकारी माना जाता है. धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, इस व्रत को करने से सारे पाप समाप्त हो जाते हैं और मोक्ष की प्राप्ति होती है. यह व्रत व्यक्ति के जीवन में सुख, समृद्धि और शांति लाने के लिए किया जाता है. इसके अलावा, यह व्रत भगवान विष्णु की पूजा से विशेष फल देने वाला होता है.
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जया एकादशी व्रत 2025 पारण समय
जो लोग जया एकादशी का व्रत करेंगे, वे पारण 9 फरवरी 2025 को करेंगे. इस दिन का पारण समय सुबह 7:04 बजे से 9:17 बजे तक रहेगा. द्वादशी तिथि का समापन 9 फरवरी को शाम 7:25 बजे होगा. इस समय को सही तरह से पालन करना व्रत के पूर्ण होने का संकेत है.
First Published :
February 08, 2025, 06:22 IST