मुद्दे से भटक रहा महाकुंभ! धीरेंद्र शास्त्री ने रील्स और IIT बाबा पर क्या कहा

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Agency:News18 Rajasthan

Last Updated:January 23, 2025, 12:13 IST

Dhirendra Krishna Shastri News: बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री बुधवार को जोधपुर पहुंचे. उन्होंने महाकुंभ रील्स बनाने पर कहा कि वर्तमान समय में महाकुंभ अपने मुद्दे से भटक रहा है. जो चिंता का ...और पढ़ें

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बच्चियों की कोई गलती नहीं है गलती उनकी है जो महाकुंभ को उद्देश्य को भटका रहा है 

जोधपुर. बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री बुधवार को जोधपुर पहुंचे. वे रावत नगर में एक नवविवाहित जोड़े को आशीर्वाद देने उनके घर गए. एयरपोर्ट पर उन्होंने महाकुंभ के महत्व पर बात करने के साथ ही कुंभ में वायरल वीडियो पर भी चर्चा की. महाकुंभ में अपनी खूबसूरत आंखों के लिए वायरल मोनालिसा, गेरुआ धारण करने वाली महामंडलेश्वर की शिष्या हर्षा रिछारिया व IIT बाबा पर धीरेंद्र शास्त्री ने कहा कि महाकुंभ अपने उद्देश्य से भटक रहा है, जो नहीं होना चाहिए. महाकुंभ में रील्स के लिए नहीं रियल के लिए जाना चाहिए. वहां संतों के दर्शन करें, संगम में डुबकी लगाएं, जिस दिन महाकुंभ में जाने वाले लोग हिंदू राष्ट्र के लिए डुबकी लगा देंगे, उस दिन भारत में हिंदू राष्ट्र का बिगुल बज जाएगा. एयरपोर्ट से वे सीधे रावत नगर स्थित अपने भक्त सुरेश दाधीच के घर पहुंचे. वहां नवविवाहित दंपती आकाश व माही को आशीर्वाद दिया.

बागेश्वर धाम के प्रमुख संत धीरेंद्र शास्त्री ने महाकुंभ के महत्व को लेकर अपनी बात रखी और इसे सनातन धर्म की अद्भुत प्रकृति का प्रतीक बताया. उन्होंने कहा कि महाकुंभ को केवल रील्स में नहीं, बल्कि रियल लाइफ में देखा जाना चाहिए. इसमें हजारों साधु-संत शामिल होते हैं, जो सनातन धर्म को जीवित रखने के लिए निरंतर संघर्ष कर रहे हैं, लेकिन रील्स में महाकुंभ को कुछ ही व्यक्तियों तक सीमित कर दिया जाता है. धीरेन्द्र शास्त्री ने कहा कि हमने कमेंट किया, लेकिन उन बच्चियों पर नहीं किया है उनकी कोई गलती नहीं है गलती उनकी है जो महाकुंभ को उद्देश्य को भटका रहा है.

महाकुंभ सनातन संस्कृति की एकता और भव्यता का प्रतीक
धीरेंद्र शास्त्री ने एयरपोर्ट पर मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि महाकुंभ भारतीय सनातन संस्कृति की एकता और भव्यता का प्रतीक है. यह केवल भारत में ही नहीं, बल्कि विदेशों से भी लोगों को आकर्षित करता है. उन्होंने उदाहरण देते हुए कहा कि स्टीव जॉब्स की पत्नी कमला और फ्रांसीसी नागरिक भी यहां डुबकी लगाने आते हैं. इसके अलावा, अमेरिका से भी लोग इस महाकुंभ में भाग लेने के लिए आते हैं. यह समरसता का प्रतीक है, क्योंकि सनातन धर्म सबको अपनी बाहों में समाहित करता है, जबकि अन्य धर्मों में ऐसा नहीं होता.

महाकुंभ रिसर्च का है बड़ा केंद्र
महाकुंभ में युवतियों की वायरल वीडियो सवाल पर धीरेन्द्र शास्त्री ने कहा कि वर्तमान समय में महाकुंभ अपने मुद्दे से भटक रहा है. वे चिंतित हैं कि आजकल कुंभ के बारे में केवल कुछ युवतियों और बाबाओं पर चर्चा की जा रही है, जबकि महाकुंभ का असली उद्देश्य सनातन संस्कृति का प्रचार-प्रसार है. महाकुंभ इस बात के लिए लगाया गया है कि हमारी संस्कृति का प्रचार हो, सनातन का प्रचार हो और भी तो साधु संत है लेकिन उस युवतियों पर ही क्यों रील टिकी हुई है. आज वहां रिसर्च का बहुत बड़ा केंद्र है. 40 करोड़ लोगों का मैनेजमेंट कैसे हो रहा है इसका बहुत बड़ा और रिसर्च का विषय है.

धर्मांतरण की घटनाओं को रोकने में मिलेगी मदद
धीरेंद्र शास्त्री ने इस दौरान बागेश्वर धाम में धर्मांतरण रोकने के लिए उठाए गए कदमों पर भी बात की. उन्होंने कहा कि भारत में आदिवासी समुदाय धर्मांतरण का सबसे बड़ा निशाना बनता है. इस दिशा में बागेश्वर धाम ने हाल ही में आदिवासी समाज के 1200 लोगों को महाकुंभ यात्रा में शामिल किया था और जन जागरण अभियान की शुरुआत की थी. साथ ही, बागेश्वर मंडल के तहत हर गांव में हनुमान चालीसा का प्रचार किया जाएगा, जिससे धर्मांतरण की घटनाओं को रोकने में मदद मिलेगी.

Location :

Jodhpur,Rajasthan

First Published :

January 23, 2025, 12:13 IST

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